पाठ ३ – उपहार
ऋत्विक एक गाँव में रहने वाला लड़का था वह बहुत ईमानदार था एक परी ने एक यात्री के रूप में उसकी ईमानदारी की परीक्षा ली। परीक्षा में उत्तीर्ण होने पर परी ने ऋत्विक को अनेक सुंदर-सुंदर पुस्तकें पुरस्कार के रूप में दी ईमानदारी एक अच्छा गुण है। इस कहानी द्वारा यही सीख दी गई है।
नए शब्द
तेज – प्रखर
हैरान – चकित
पोटली – छोटी
थैली राहगीर – पथिक
मुहावरे
आँखें भर आना – दुखी होना
वाक्य : जब बेटी की विदाई का समय आता है तब लड़की वालों की आंखें भर आती है।
तय करना – निश्चय करना
वाक्य : लड़ाई चल रही है और हमें आगे बढ़ने के लिए एक लंबा रास्ता तय करना है।
चकित होना – आश्चर्य करना
वाक्य : वास्तव में सुशील जी का चकित होना कुछ हद तक सही ही है।
आँख लगना – नींद आ जान
वाक्य : पिछले माह जब मैं बस में सफ़र कर रहा था तब आँख लगने के कारण मेरे सारा सामान चोरी हो गया।
नाम हमारे
चित्र पहचानकर उनके नाम लिखो :
उत्तर:
घर
नदी
फल
पहाड़
बोरा
चाबियाँ
लोग
दूध
बूढ़ा
मिठाई
विचार मंथन
।। ईमानदारी चरित्र निर्माण की नींव है ।।
उत्तर: यदि प्रकृति में सुंदर-सुंदर रंग नहीं होते, तो यह दुनिया इतनी मनमोहक न होती बहुत ऊबाऊ होती। यह दूर-दूर तक फैला नीला आकाश, हरे भरे जंगल, तालाबों में खिले कमल, डालियों पर लहराते घूमते विविध रंगों के मनभावन पुष्प, उन पर मँडराती रंग-बिरंगी तितलियाँ ऐसे दृश्य हैं, जिन्हें देखकर कोई भी मनुष्य कितनी भी चिंता में डूबा हुआ क्यों न हो, कुछ समय के लिए वह सब कुछ भूल जाता है।
खोजबीन
गृह उद्याेगों की जानकारी प्राप्त करो और इसपर चर्चा करो ।
उत्तर: छात्रों को यह स्वयं करना चाहिए।
भाषा की ओर
निम्नलिखित शब्दों के समानार्थी शब्द इस कहानी से ढूँढ़कर बताओ।
उत्तर:
सखा – मित्र
वृक्ष – पेड़
जननी – माँ
नयन – आँख
भगिनी – बहन
सुनो तो जरा
कार्टून कथा सुनकर उसेहाव-भाव सहित सुनाओ।
उत्तर: छात्रों को यह स्वयं करना चाहिए।
बताओ तो सही
बड़े होकर क्या बनना चाहते हो ?
उत्तर: मैं बड़ा होकर डॉक्टर बनना चाहता हूँ। आज हमारे देश में बीमारियाँ बढ़ रही हैं और योग्य डॉक्टरों की कमी हैं। जो डॉक्टर योग्य हैं, उनकी फीस सुनकर बीमारी और बढ़ जाती है। गाँवों के गरीब मरीजों को अपने मकान और जमीन बेचकर शहर के अस्पताल में अपना इलाज कराना पड़ता है। मैं एक कुशल और योग्य डॉक्टर बनकर उचित फीस में ऐसे मरीजों का इलाज करना चाहता हूँ। डॉक्टर के पेशे में कमाई के साथ लोगों की सेवा का अवसर भी मिलता है। इसीलिए मैं डॉक्टर बनना चाहता हूँ।
वाचन जगत से
महादेवी वर्मा का कोई रेखाचित्र पढ़कर उसके पात्रों के नाम लिखो ।
उत्तर: उन्होंने कई रेखाचित्र लिखें हैं जिनमें नीलकंठ मोर , घीसा, सोना , गौरा आदि पात्र काफी प्रसिद्ध है।
मेरी कलम से
इस कहानी के किसी एक अनुच्छेद का अनुलेखन करो ।
उत्तर: छात्रों को यह स्वयं करना चाहिए।
किसने किससे कहा है, बताओ :
१. ‘‘तुम यहाँ उदास क्यों बैठे हो?’’
उत्तर: परी ने ऋत्विक से कहा है।
२. ‘‘मेरी पोटली गिर गई है रास्ते में।’’
उत्तर: राहगीर ने ऋत्विक से कहा है।
३. ‘‘और कोई पहचान बताओ।’’
उत्तर: ऋत्विक ने राहगीर से कहा है।
४. ‘‘नहीं-नहीं, अब तो तुम ही मेरी साथी हो, मित्र हो।’’
उत्तर: ऋत्विक ने पुस्तकों से कहा है।
सदैव ध्यान में रखो
सच्चाई में ही सफलता निहित है।
जरा सोचो ………. बताओ
यदि तुम्हें परी मिल जाए तो …..
उत्तर: यदि मुझे कभी परी मिल जाए, तो मुझे बहुत खुशी होगी। मैं परी से प्रार्थना करूंगा कि वह मुझे अपने साथ परीलोक ले चले। मैं देखना चाहता हूँ कि परीलोक कैसा होता है? परियाँ कैसे रहती हैं? वे क्या खाती-पीती हैं? क्या उनके बच्चों को भी स्कूल जाना होता है? क्या उन्हें भी कभी हमारी तरह गृहकार्य, परियोजना आदि बनानी होती है?
अध्ययन कौशल
किसी परिचित अन्य कहानी लेखन के लिए मुद्दे तैयार करो।
उत्तर: छठी कक्षा का विद्यार्थी – डरा हुआ – एक कहानी पढ़ी – एक हारे हुए राजा ने चींटी से शिक्षा और प्रेरणा ली – सेना इकट्ठी की – अपना राज्य फिर से प्राप्त कर लिया – विद्यार्थी को प्रेरणा मिली – परिश्रम किया – परीक्षा की तैयारी की – अच्छे अंकों से उत्तीर्ण हुआ – सीख।
अध्ययन कौशल
दिए गए चित्रों के आधार पर उचित और आकर्षक विज्ञापन तैयार करो ।
उत्तर: छात्रों को यह स्वयं करना चाहिए।